SPEECH OF HONURABLE GOVERNOR PUNJAB AND ADMINISTRATOR, UT CHANDIGARH, SHRI BANWARI LAL PUROHIT ON THE OCCASION OF LAUNCH OF CHANDIGARH SPORTS POLICY AT SPORTS COMPLEX, SECTOR 7, CHANDIGARH ON 29TH AUGUST 2023 AT 11:00 AM

  • PRB
  • 2023-08-29 13:40

आज चंडीगढ़ शहर के लिए यह एक ऐतिहासिक पल है- आज चंडीगढ़ खेल नीति का शुभारंभ है।
यह एक अत्यंत महत्वपूर्ण कदम है जो हमारे शहर को खेल और खिलाड़ियों के विकास की दिशा में आगे बढ़ाने के लिए उठाया गया है।
आज 9 करोड़ रूपय की लागत से तैयार नये ऐथिलेटिक ट्रैक को भी शहरवासियों को समर्पित किया गया है।
सौभाग्य की बात है कि यह Athletic Facility और अपनी खेल नीति उस दिन लांच कर रहे हैं जब सारे देश में ‘‘राष्ट्रीय खेल दिवस’’ मनाया जा रहा है।
बंधुओं,
खेल पुरातन काल से ही भारत की सभ्यता का हिस्सा रहे हैं।
रामायण काल हो, महाभारत काल हो या वेदों-पुराणों का समय हो खेल प्रत्यक्ष, अप्रत्यक्ष रूप से जनजीवन का हिस्सा रहे हैं।
घुड़सवारी, तलवारबाजी, तिरंदाजी, कुश्ती, मल्लखम्भ, रथों की दौड़, तैराकी, चौसर इत्यादी खेलों का प्राचीन भारत में प्रचलन था।
अर्जुन, एकलव्य, भीम, गुरू द्रोणाचार्य, कौन नहीं परिचित इन नामों से!
खेल केवल मनोरंजन के लिए नहीं खेले जाते थे बल्कि शारीरिक व मानसिक स्फूर्ति के विकास का साधन थे।
समय के साथ खेलों कि किस्में और इनका स्वरूप बदलता रहा परंतु यह हमेशा से हमारी जिंदगी का अभिन्न अंग रहे हैं।
हमारे देश में प्रतिभा की कोई कमी नहीं है परंतु खेल क्षेत्र के प्रति उदासीनता के कारण एक दौर ऐसा भी आया कि हम अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर अपनी छाप नहीं छोड़ पाये।
लेकिन पिछले तकरीबन एक दशक में माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी के मार्गदर्शन में खेलों को प्रोत्साहित करने के लिए अनेक कदम उठाये गये हैं।
खेलों को राष्ट्रीय शिक्षा नीति के तहत पाठ्यक्रम का अनिवार्य अंग बनाया गया है। 
Sports को उसी श्रेणी में रखा गया है जैसे Science, Commerce, Maths या दूसरी पढ़ाई; अब वह extra activity नहीं माने जाएंगे बल्कि sports का उतना ही महत्व होगा जितना बाकी विषयों का। 
साल 2014 के मुकाबले देश का खेल बजट लगभग 3 गुना बढ़ाया गया है।
फिट इंडिया, खेलो इंडिया, Target Olympic Podium Scheme (TOPS), खेल यूनिवर्सिटियों की स्थापना इत्यादि अनेक कदम खेल eco system  को उत्साहित करने के लिए उठाये गये हैं।
ऐसे में हर राज्य का भी यह दायित्व है कि स्थानीय स्तर पर खेलों और खिलाड़ियों का प्रोत्साहित करने के लिए योग्य कदम उठायें।
चंडीगढ़ खेल नीति इसी दिशा में उठाया गया कदम है।
यह हमारी खेलों को उत्साहित करने की प्रतिब्द्धता का प्रमाण है।
इस नई नीति के तहत, ओलिंपिक/पैरा ओलिंपिक खेलों के स्वर्ण, रजत और कांस्य पदक विजेताओं को करोड़ों रूपये का नकद पुरस्कार दिया जाएगा।
अन्य टूर्नामेंटों में शहर और देश का प्रतिनिधित्व करने वाले खिलाड़ियों को भी नकद पुरस्कार से सम्मानित किया जायेगा।
खेल कोटा के तहत नौकारियां दी जायेंगी।
विशाल बुनियादी ढांचे वाले विभिन्न खेलों के कोचिंग सेंटर खोले जायेंगे।
मेरा यह मानना है कि खेल क्षमता की पहचान जल्द से जल्द कर खिलाड़ियों को उचित ट्रेनिंग देनी चाहिए।
इसीलिए मे मानता हूँ कि हमारी नई खेल नीति का प्रतिभा खोज कार्यक्रम (Sports Talent Hunt) एक महत्वपूर्ण अंग है जिसके तहत 6 से 9, 9 से 11 और 11 से 13 वर्ष के आयु वर्ग के लिए प्रतिवर्ष प्रतियोगिताएं आयोजित की जायेंगी और उत्तीर्ण होने वाले खिलाड़ियों के लिए विशेष ट्रेनिंग कैम्प आयोजित किये जायेंगे।
पदक जीतने वाले खिलाड़ियों के कोचों को उनकी कड़ी मेहनत, समपर्ण और प्रतिभागिता के सम्मान में नकद पुरस्कार दिये जायेंगे।
कोचों को अंतर्राज्यीय व अंतर्राष्ट्रीय आदान-प्रदान कार्यक्रम, सेमीनार और वार्ताओं में सम्मिलित कर उन्हें नियमित प्रशिक्षण व exposure प्रदान किया जायेगा।
खिलाड़ियों का Data Bank तैयार करना; उनके लिए State-of-Art Sports Injury & Rehabilitation Centre, उनके physical और mental well-being के लिए wellness centre, उनका insurance, library, sports tourism को उत्साहित करना इत्यादि कई aspects cover किए गये हैं इस नीति में।
सब-जूनियर और जूनियर चैम्पियनशिप में पहले 3 स्थान-धारकों के लिए दिए जाने वाली छात्रवृत्ति बढ़ा दी गई है।
वैश्विक स्तर पर असाधारण उपलब्धि के लिए खिलाड़ियों, प्रशिक्षकों, रेफरी/अंपायरों, physical education trainers और दिव्यांग खिलाड़ियों में से चुने गये विशेष व्यक्तियों को special ‘‘प्रशासक पुरस्कार’’(Administrator’s Award) द्वारा सम्मानित किया जाएगा।
बन्धुओं,
हम सब जानते हैं कि खेलों के अनेक फायदे हैं। शारीरिक, मानसिक, मनोवैज्ञानिक कौशल में सुधार करते हुए खेल हमारे अन्दर अनुशासन व एकाग्रता पैदा करते हैं।
मैं हमेशा कहता हूं कि खेलों का सबसे खूबसूरत रूप यह है कि वे खिलाड़ियों में खेल भावना (Sportsman-Spirit) और टीम भावना उत्पन्न करते हैं। ये सिर्फ हार-जीत और टीम वर्क को स्वीकार करने तक सीमित नहीं हैं बल्कि खेल हमें निहित स्वार्थों से ऊपर उठर सामूहिक सफलता के लिए प्रेरित करते हैं।
खेल हमें मर्यादा और नियमों का पालन करना सिखाते हैं। 
टैनिस की महान खिलाड़ी बिली जीन किंग ने कहा है, ‘‘खेल आपको चरित्र निर्माण सिखाता है, यह आपको नियमों के अनुसार खेलना सिखाता है, यह आपको यह जानना सिखाता है कि जीतना और हारना कैसा होता है - यह आपको जीवन जीना सिखाता है।’’ 
"Sport teaches you character, it teaches you to play by the rules, it teaches you to know what it feels like to win and lose - it teaches you about life." - Billie Jean King
इसके अलावा युवा शक्ति जब खेलों में channelize हो जाती है तो वे मादक पदार्थों की लत, अपराध और विकारों से दूर हो जाते हैं।
बन्धुओं,
चंडीगढ़ एक अविश्वसनीय खेल विरासत से संपन्न शहर है, जहां कई sports icons हैं, जिन्होंने राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर शहर का नाम रोशन किया है।
चंडीगढ़ ने हमेशा स्वस्थ्य और खेल को अपने मूल्यों का महत्वपूर्ण हिस्सा माना है।
हमारे युवा हमारा गौरव हैं और उन्हें सर्वोत्तम सुविधाएं देकर उनकी खेल क्षमता का पूरी तरह से लाभ उठाने के लिए एक अनुकूल वातावरण प्रदान करना हमारी जिम्मेदारी है।
यह नीति वित्तीय पहलू से अधिक सुरक्षा की भावना पैदा करके युवा प्रतिभाओं को आकर्षित करने के लिए महत्वपूर्ण साबित होगी।
मुझे आशा है कि आज़ादी के अमृतकाल में तैयार हुई चंडीगढ़ की स्पोर्ट्स पॉलिसी जोकि बहुत ही मेहनत और शोध के बाद तैयार की गई है, अन्य राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों की भविष्य की कई नीतियों की पथप्रदर्शक बनेगी।
धन्यवाद,
जय हिन्द!