Speech of Hon’ble Governor of Punjab and Administrator, U.T. Chandigarh on the occasion of the “Distribution of Appointment Letters to Teachers” at U.T. Secretariat, Sector 9, Chandigarh, on 18th September, 2025.

नवनियुक्त शिक्षकों को नियुक्ति पत्र वितरण के अवसर पर

राज्यपाल श्री गुलाब चंद कटारिया जी का संबोधन

दिनांकः 18.09.2025, गुरूवारसमयः सुबह 11:00 बजेस्थानः चंडीगढ़

         

नमस्कार!

सर्वप्रथम, इस हर्ष और गर्व से भरे अवसर पर मैं नियुक्ति पत्र प्राप्त करने वाले सभी प्रतिभाशाली युवाओं और उनके गौरवान्वित परिजनों को हार्दिक बधाई और शुभकामनाएँ देता हूँ। आज का यह दिन हम सबके लिए अत्यंत महत्त्वपूर्ण है, क्योंकि हम भविष्य के निर्माता, अपने नवनियुक्त शिक्षकों को शिक्षण सेवा का दायित्व सौंप रहे हैं।

  शिक्षक केवल ज्ञान का प्रदाता नहीं होता, वह समाज का वह केंद्रीय स्तंभ है, जो नई पीढ़ी के विचारों को दिशा देता है, उन्हें सही और गलत की पहचान कराता है और उनकी अंतर्निहित क्षमताओं को पूर्ण रूप से विकसित करने की पृष्ठभूमि तैयार करता है।

  आज आप लोगों को शिक्षा विभाग में बतौर शिक्षक नियुक्त किया गया है। यह आपकी कड़ी मेहनत और दृढ़ संकल्प का परिणाम है कि आप भर्ती प्रक्रिया में उत्तीर्ण हुए हैं। आप बहुत भाग्यशाली हैं कि आपको अमृतकाल में देश की सेवा करने का सुनहरा अवसर मिला है।

  आप देश का वर्तमान एवं भविष्य दोनों हैं। वर्तमान में हम जो कार्य करते हैं, वह हमारे भविष्य को सुदृढ़ बनाने में सहायक सिद्ध होते हैं। युवा वर्ग और शिक्षक दोनों अपनी मेहनत और कर्तव्य निष्ठा से देश के हर क्षेत्र में प्रगति सुनिश्चित कर सकते हैं।

  चंडीगढ़ शिक्षा विभाग द्वारा तैयार सेवा कैलेंडर 2025-26 जिसका आज शुभारंभ किया गया है, एक अत्यंत सराहनीय और सशक्त प्रयास है। इससे हमारे विद्यार्थियों में न केवल शैक्षणिक उत्कृष्टता आएगी, बल्कि जीवन-मूल्यों का भी विकास भी होगा। शिक्षा का उद्देश्य केवल रोजगार दिलाना ही नहीं बल्कि समाज निर्माण भी है। यह पहल निश्चय ही नयी पीढ़ी को संवेदनशील और जागरूक बनाएगी तथा  राष्ट्र निर्माण में सक्रिय भागीदारी के लिए प्रेरित करेगी।

मुझे यह जानकर बहुत प्रसन्नता हुई कि ‘‘सेवा पखवाड़ा’’ उत्सव के हिस्से के रूप में आज ‘खेल किट उपहार’ पहल का शुभारंभ किया गया है। यह पहल हमारे समाज के उन बच्चों और युवाओं तक खेलों की ऊर्जा और उमंग पहुंचने का प्रयास है, जिन्हें संसाधनों की कमी के कारण अवसर नहीं मिल पाए। 

विभिन्न खेलों की किट और पोशाक के उपहार देकर हम न केवल उनकी प्रतिभा को निखारने का मार्ग प्रशस्त कर रहे हैं बल्कि उनमें स्वस्थ जीवन शैली के प्रति प्रेरणा भी जगा रहे हैं। मुझे विश्वास है कि सभी की सहभागिता से यह प्रयास अवश्य सार्थक सिद्ध होगा।

चंडीगढ़ शिक्षा विभाग के 111 विद्यालयों में लगभग डेढ़ लाख विद्यार्थी शिक्षा ग्रहण कर रहे हैं। शिक्षक भर्ती प्रक्रिया के आज के चरण में विभिन्न पदों पर कुल 82 शिक्षकों को नियुक्ति पत्र प्रदान किए गए हैं। इस से  शिक्षा की गुणवत्ता में निश्चित रूप से सुधार होगा।

 

मित्रो,

एक शिक्षक सामान्य होते हुए भी मनुष्य को महान बनाने की ताक़त रखता है। शिक्षक ही वह धूरी होता है जो विद्यार्थी को सही-ग़लत व अच्छे-बुरे की पहचान करवाते हुए उसकी अंतर्निहित शक्तियों को विकसित करने की पृष्ठभूमि तैयार करता है।

शिक्षक विद्यार्थियों को केवल पाठ्यक्रम का ज्ञान नहीं देते, बल्कि उन्हें जीवन के हर क्षेत्र में जागरूक और कुशल बनाते हैं। वे ज्ञान के प्रकाशक तो होते ही हैं, साथ ही वे नैतिकता, अनुशासन, और मूल्यों के संवाहक भी होते हैं। शिक्षक हमारे समाज को शिक्षित और सशक्त बनाते हैं, जिससे एक मज़बूत और प्रगतिशील राष्ट्र का निर्माण होता है।

आपकी मेहनत और समर्पण के बिना एक समृद्ध और सशक्त समाज की कल्पना करना असंभव है। इसलिए, समाज में शिक्षक का सम्मान और योगदान अमूल्य है।

आपके द्वारा दी गयी शिक्षा और नैतिकता के पाठ एक बच्चे के जीवन भर साथ रहते हैं। यही बच्चे कल के नेता, वैज्ञानिक, शिक्षक, और समाज के अन्य महत्वपूर्ण स्तंभ बनते हैं।

आज हम जो कुछ भी हैं, वह हमारी पिछली पीढ़ियों के प्रयासों का परिणाम है। इसी तरह, जो आप आज करेंगे, वह आने वाली पीढ़ियों के लिए आदर्श और मार्गदर्शक बनेगा।

वर्तमान और भविष्य एक-दूसरे से जुड़े हुए हैं। आप वह कड़ी हैं जो आज और कल को जोड़ती है। वर्तमान में जो भी सुधार या बदलाव आप करते हैं, उसका दीर्घकालिक प्रभाव देश के भविष्य पर पड़ता है। 

आज की युवा शक्ति और शिक्षक, देश के लिए नई ऊर्जा और नवाचार का स्रोत हैं। आपका हर प्रयास देश को नई ऊँचाइयों तक ले जा सकता है। जब आपको देश के वर्तमान और भविष्य दोनों का जिम्मेदार ठहराया जाता है, तो यह आपके प्रति एक विश्वास को दर्शाता है कि आप इस भूमिका को सफलतापूर्वक निभा सकते हैं।

प्रिय नव नियुक्त शिक्षको,

सरकारी नौकरी में प्रवेश जीवन का अंतिम पड़ाव नहीं हो सकता। सरकारी नौकरी का उद्देश्य सिर्फ स्थिरता प्राप्त करना नहीं है, बल्कि समाज की सेवा करना और अपने कर्तव्यों का पालन करना है। यह एक नई यात्रा की शुरुआत है, जहाँ आप समाज को सकारात्मक रूप से प्रभावित कर सकते हैं। 

अक्सर देखा जाता है कि सरकारी नौकरी मिलते ही लोग सोचने लगते हैं कि “अब तो सब हो गया, अब आराम से समय गुज़ारें।‘’ लेकिन हमें याद रखना चाहिए कि समय केवल “पास’’ करने की चीज़ नहीं है। हर क्षण भविष्य की नींव रखता है और बीता हुआ समय कभी लौटकर नहीं आता।

यदि हम केवल समय काटने की प्रवृत्ति अपनाते हैं, तो शायद क्षणिक रूप से मन को संतुष्टि मिले, लेकिन इतिहास और आने वाला समय हमें कभी माफ़ नहीं करता। इसलिए यह ज़रूरी है कि हम हर पल को सार्थक बनाएँ और अपने कर्तव्यों को पूरी निष्ठा और ईमानदारी के साथ निभाएँ।

साथियो,

पिछले कुछ वर्षों में भारत के शिक्षा क्षेत्र में कई ऐतिहासिक और दूरगामी बदलाव हुए हैं। नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति (एनईपी 2020) ने शिक्षा को अधिक समग्र, लचीला और प्रौद्योगिकी-संचालित बनाने का मार्ग प्रशस्त किया है। यह नीति विद्यार्थियों को 21वीं सदी के कौशल से सुसज्जित करने पर जोर देती है। इसके अंतर्गत मातृभाषा में शिक्षा पर बल, स्किल डेवलपमेंट, फ्लेक्सिबल करिकुलम, और क्रेडिट ट्रांसफर सिस्टम जैसी पहलें भविष्य की जरूरतों को ध्यान में रखकर लागू की गई हैं।

डिजिटल शिक्षा के क्षेत्र में PM e-Vidya, DIKSHA प्लेटफ़ॉर्म, SWAYAM, और National Digital Library जैसी योजनाओं ने देशभर के विद्यार्थियों और शिक्षकों को गुणवत्तापूर्ण सामग्री तक निशुल्क और व्यापक पहुंच प्रदान की है। आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, रोबोटिक्स और डेटा साइंस जैसे विषय अब स्कूल स्तर पर भी शामिल किए जा रहे हैं ताकि हमारे विद्यार्थी वैश्विक प्रतिस्पर्धा में आगे रहें।

हाल ही में भारत के कई स्कूलों ने Hybrid & Blended Learning, Virtual Labs और Smart Classroomsको अपनाया है। AI-enabled teaching tools, Adaptive learning platforms और Digital assessmentsअब शिक्षा का अभिन्न हिस्सा बन रहे हैं।

इसी प्रकार, Skill India Mission, National Skill Development Corporation और PM Kaushal Vikas Yojana जैसी योजनाएँ युवाओं को केवल शैक्षणिक ही नहीं, बल्कि व्यावसायिक और उद्यमिता कौशल में भी सक्षम बना रही हैं।

प्रिय नव-नियुक्त शिक्षको,

आपसे यह अपेक्षा है कि आप इन नवीन प्रवृत्तियों और तकनीकों को अपनाकर अपने विद्यार्थियों को वैश्विक स्तर पर प्रतिस्पर्धी बनाएँगे। आप समय-समय पर राज्य, राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर आयोजित टीचर्स एक्सचेंज प्रोग्राम और टीचर ट्रेनिंग प्रोग्राम में भाग लेकर अपने कौशल और ज्ञान को और समृद्ध करें।

मैं चाहूँगा कि आप समय-समय पर राज्य, राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर आयोजित होने वाले टीचर्स एक्सचेंज प्रोग्राम और टीचर ट्रेनिंग प्रोग्राम में भाग लेना सुनिश्चित करें, ताकि आप अपने ज्ञान और कौशल को और अधिक निखार सकें।

शिक्षक जब अपने ज्ञान और कौशल को निरंतर निखारते हैं, तो वे शिक्षा के क्षेत्र में उच्च मानक स्थापित करते हैं और अपने छात्रों के जीवन में वास्तविक परिवर्तन लाते हैं।

प्रिय नव नियुक्त शिक्षको,

आप जिस भी स्कूल में कार्यरत हों, उस स्कूल का परिणाम निजी स्कूलों से बेहतर होना चाहिए क्योंकि आपके पास न केवल उत्कृष्ट शैक्षिक योग्यता है, बल्कि समर्पण, मेहनत और एक समर्थ शिक्षा प्रणाली भी है।

जब शिक्षक अपने कार्य में उत्कृष्टता लाने के लिए कड़ी मेहनत करते हैं और छात्रों को पूर्ण रूप से मार्गदर्शन करते हैं, तो परिणाम हमेशा बेहतर होते हैं। यह आपके प्रयासों और समर्पण का ही परिणाम होगा कि आपके स्कूल का प्रदर्शन अन्य स्कूलों से उत्कृष्ट हो।

अब आपके पास यह सुनहरा अवसर है कि आप अपनी प्रतिभा और क्षमता का उपयोग करते हुए अपने शहर और देश को गर्व महसूस कराने में एक विशेष और महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकें। अपने कार्यक्षेत्र में उत्कृष्टता हासिल कर देश के लिए एक आदर्श बनें। आपकी उपलब्धियाँ देश के गौरव में वृद्धि करेंगी।

याद रखें, अपने उत्तरदायित्व का निर्वहन हमेशा सकारात्मक सोच के साथ करें। अपने कार्यों में पूरी पारदर्शिता बनाए रखें और सच्चाई व ईमानदारी को अपना आधार बनाएं।

समय की पाबंदी जीवन में सफलता का मूल मंत्र है। इसलिए समय की पाबंदी को अपने काम के पहले दिन से ही सुनिश्चित करें और इसे अपने व्यक्तित्व का अभिन्न हिस्सा बनाएं।

प्रिय शिक्षको,

आप सभी को जो नियुक्ति पत्र आज सौंपे गये हैं, वे केवल एक नौकरी का अवसर नहीं हैं, बल्कि यह एक जिम्मेदारी है। आपके कंधों पर उस नई पीढ़ी को शिक्षित और संवारने की महत्वपूर्ण जिम्मेदारी है, जो हमारे प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी द्वारा 2047 तक विकसित भारत के सपने को साकार करने की असली वाहक बनेगी।

आपके मार्गदर्शन से तैयार होने वाले ये विद्यार्थी ही आने वाले वर्षों में देश को विज्ञान, प्रौद्योगिकी, अर्थव्यवस्था, संस्कृति और नैतिक मूल्यों के हर क्षेत्र में नई ऊँचाइयों तक ले जाएंगे। आपका प्रत्येक प्रयास, प्रत्येक शिक्षण और प्रत्येक मूल्य-संस्कार भारत को विकसित भारत 2047 की दिशा में आगे बढ़ाने वाला ठोस कदम है।

इसलिए, आपका कार्य केवल ज्ञान देना नहीं, बल्कि भविष्य के उन नागरिकों का निर्माण करना है जो आत्मनिर्भर, नवाचारी, नैतिक और वैश्विक स्तर पर प्रतिस्पर्धी हों।

मैं आपसे यह अपेक्षा करता हूँ कि आप न केवल बच्चों को सिखाने का काम करेंगे, बल्कि उनकी सोच, उनके कौशल, और उनकी सृजनात्मकता को भी विकसित करने में अपनी भूमिका निभाएंगे।

मेरी शुभकामनाएँ आपके साथ हैं। आइए, हम सभी मिलकर यह संकल्प लें कि शिक्षा के माध्यम से हम एक सशक्त, समृद्ध, और नैतिक समाज का निर्माण करेंगे।

अंत में, मैं आप सभी को बधाई देता हूँ और आपके उज्ज्वल भविष्य की कामना करता हूँ। 

धन्यवाद,

जय हिंद!